Marwadi Marod (मारवाड़ी मरोड़)

आपणी परंपरावां-आपणां रीवाज 


 कैवे है कै घर मांय बूढ़ा -बडे़रा रो होवणौ घणौ जरूरी है! आ बात सांव सांची है।काल म्हारा भाभूसा हुकुम (सासूजी )फरमाया कै' बीनणी होळी आबाळी है बड़कुळ्या बणाया कै कोनी?'

'ओल्यो भाभूसा हुकुम म्है तो भूलगी!'

'कांई कोनी आज चोखो बार है आज बणाल्यो,होळी ताईं सूख ज्यासी।'

'आज बणा लेस्यूं भाभूसा हुकुम।'


 म्हैं सोचण लागी कै 'जणां ही तो घर में बडे़रां होवणा जरुरी है।'

1 month ago | [YT] | 7