*आप सभी को गणेश चतुर्थी पावन पर्व की हार्दिक शुभकामनाएं*🙏🙏
प्रिय दोस्तों, निम्न प्रसंग आप सभी को मालूम होगा
एक बार भगवान भोलेनाथ और माता पार्वती के दोनो पुत्रों श्री गणेश जी और श्री कार्तिकेय जी मै ,इस बात को लेकर बहस हो गई , कि दोनो मै श्रेष्ठ कौन है?
कोई मानने को तैयार नही था की श्रेष्ठ कौन है, बुद्धि और ज्ञान मै दोनो ही अपने तर्को से लाजवाब प्रत्युत्तर रख रहे थे । ऐसे मै कठिन हो चला था श्रेष्ठ कौन है।
अंत में माता पार्वती की आज्ञानुसार एक प्रतिस्पर्धा का आयोजन किया गया; को कोई भी इस ब्रह्मांड की तीन परिक्रमा कर पहले आएगा वही श्रेष्ठ घोषित होगा। दोनो भाईयों ने माता की आज्ञा मान ली और शर्त स्वीकार कर ली। पलक झकप्ते ही कार्तिकेय अपने वाहन मयूर पर उड़ चले। श्री गणेश चिंतित हो गए , मै अपने मूषक पर कब इस संसार के तीन चक्कर लगाऊंगा।
उन्होंने अपने विवेक का इस्तेमाल किया और और अपनी माता पार्वती एवम पिता महादेव को एक साथ बैठने के लिए कहा। फिर अपने मूषक पर बैठ अपने मातापिता की तीन परिक्रमा शीघ्र कर ली। और स्वयं को प्रतिस्पर्धा मै विजित घोषित कर दिया।
महादेव ने कहा नही , तुम विजय कैसे हो सकते हो, शर्त संसार की तीन परिक्रमा करने की थी। श्री गणेश ने कहा , वही मैने किया है, मेरा संसार तो मेरे मातापिता है। मैने अपने ब्रह्मांड के तीन चक्कर लगाए है।
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प्रिय दोस्तों,
निम्न प्रसंग आप सभी को मालूम होगा
एक बार भगवान भोलेनाथ और माता पार्वती के दोनो पुत्रों श्री गणेश जी और श्री कार्तिकेय जी मै ,इस बात को लेकर बहस हो गई , कि दोनो मै श्रेष्ठ कौन है?
कोई मानने को तैयार नही था की श्रेष्ठ कौन है, बुद्धि और ज्ञान मै दोनो ही अपने तर्को से लाजवाब प्रत्युत्तर रख रहे थे ।
ऐसे मै कठिन हो चला था श्रेष्ठ कौन है।
अंत में माता पार्वती की आज्ञानुसार एक प्रतिस्पर्धा का आयोजन किया गया;
को कोई भी इस ब्रह्मांड की तीन परिक्रमा कर पहले आएगा वही श्रेष्ठ घोषित होगा।
दोनो भाईयों ने माता की आज्ञा मान ली और शर्त स्वीकार कर ली।
पलक झकप्ते ही कार्तिकेय अपने वाहन मयूर पर उड़ चले। श्री गणेश चिंतित हो गए , मै अपने मूषक पर कब इस संसार के तीन चक्कर लगाऊंगा।
उन्होंने अपने विवेक का इस्तेमाल किया और और अपनी माता पार्वती एवम पिता महादेव को एक साथ बैठने के लिए कहा। फिर अपने मूषक पर बैठ अपने मातापिता की तीन परिक्रमा शीघ्र कर ली।
और स्वयं को प्रतिस्पर्धा मै विजित घोषित कर दिया।
महादेव ने कहा नही , तुम विजय कैसे हो सकते हो, शर्त संसार की तीन परिक्रमा करने की थी।
श्री गणेश ने कहा , वही मैने किया है, मेरा संसार तो मेरे मातापिता है। मैने अपने ब्रह्मांड के तीन चक्कर लगाए है।
*Happy Ganesh Chaturthi* #GaneshChaturthi #Kiaraastroabc #feattheoryabc #fiveelements #occultscience
1 month ago | [YT] | 17