जो भगवान शिव आनंदवन क्षेत्र काशी में आनंद पूर्वक निवास करती हैं, जो भगवान शिव परमानंद के निधान हैं जो आदि कारण हैं जो भगवान शिव समस्त पाप समूह का नाश करने वाले हैं। ऐसे अनाथो के नाथ काशी पति भगवान श्री विश्वनाथ श्री शिव शंकर की शरण में मैं जाता हूं।
इस लोक में भगवान शिव के प्रति श्रद्धा भाव प्रकट किया गया है। भगवान शिव आनंदवन काशी क्षेत्र यानी वाराणसी में निवास करते हैं। वह उनका घर माना जाता है। वह सभी हर तरह के परमानंद का स्रोत हैं। वह आदि हैं। वह ही अनंत हैं। वह ही सारे पापों का नाश करने वाले हैं। वे अनाथों के नाथ व नाथों के नाथ के काशी के राजा हैं। ऐसे श्री विश्वनाथ की शरण में जाने की मैं कामना करता हूँ।
Udaan Vidyapeeth
सानन्दमानन्दवने वसन्तमानन्दकन्दं हतपापवृन्दम्। वाराणसीनाथमनाथनाथं श्रीविश्वनाथं शरणं प्रपद्ये ॥
जो भगवान शिव आनंदवन क्षेत्र काशी में आनंद पूर्वक निवास करती हैं, जो भगवान शिव परमानंद के निधान हैं जो आदि कारण हैं जो भगवान शिव समस्त पाप समूह का नाश करने वाले हैं। ऐसे अनाथो के नाथ काशी पति भगवान श्री विश्वनाथ श्री शिव शंकर की शरण में मैं जाता हूं।
इस लोक में भगवान शिव के प्रति श्रद्धा भाव प्रकट किया गया है। भगवान शिव आनंदवन काशी क्षेत्र यानी वाराणसी में निवास करते हैं। वह उनका घर माना जाता है। वह सभी हर तरह के परमानंद का स्रोत हैं। वह आदि हैं। वह ही अनंत हैं। वह ही सारे पापों का नाश करने वाले हैं। वे अनाथों के नाथ व नाथों के नाथ के काशी के राजा हैं। ऐसे श्री विश्वनाथ की शरण में जाने की मैं कामना करता हूँ।
1 month ago | [YT] | 21